21 Amazing Facts about Stars in Hindi
आपने कभी न कभी तो रात में बाहर निकलकर तारों की खूबसूरती को निहारा ही होगा. हाँ, हम जानते है कि तारें कितने रहस्यमय है लेकिन फिर भी मै कुछ जाँच-पड़ताल करके 21 तथ्य ढूंढकर लाया हूँ उम्मीद है आपको पसंद आएगे. ‘Star‘ शब्द, प्राचीन ग्रीक शब्द ‘aster‘ से लिया गया है-जिसका अर्थ है ‘a star-एक तारा‘. आइए डिटेल में पढ़ते है…
1. हमारी मिल्की वे आकाशगंगा में करीब 2 से 4 खरब तारें है और ऐसी-ऐसी आसमान में 1 खरब आकाशगंगाएँ है. कुल मिलाकर ब्रह्मांड में इतने तारें है कि 1 के पीछें 24 zero. मतलब, रेत के कणों से भी ज्यादा। अगर आप 1 मिनट में 100 तारे गिने तो भी आपको एक पूरी आकाशगंगा गिनने में 2000 साल लगेगे।
2. हमारे सबसे नजदीक का तारा है सूर्य. लेकिन यह भी 14.96 करोड़ किलोमीटर दूर है. सूर्य के बाद जो सबसे नजदीक का तारा है वह है ‘Proxima Centauri‘. जो धरती से 4.22 प्रकाश वर्ष यानि 3 नील 99 ख़रब 24 अरब 28 करोड़ 25 लाख किलोमीटर की दूरी पर है (39,924,282,594,290 km). light को भी यहाँ तक पहुंचने में 4.2 साल लग जाएगे और अभी हमारे पास जो सबसे फास्ट टेक्नोलाॅजी है उससे यहाँ तक पहुंचने में 75 हज़ार साल लग जाएंगे।
3. रात को हम आसमान में जितने भी तारें देखते है वो सभी सूर्य से बड़े और ज्यादा चमकदार होते है।
4. बिल्कुल अंधेरी रात में भी नंगी आंखो से एक जगह पर खड़े होकर हमे ज्यादा से ज्यादा 2000 तारें ही दिखाई देते है।
5. सबसे गर्म तारा: 2,09,726°C Temp. के साथ ‘Wolf-Rayet 102‘ आसमान का सबसे गर्म सितारा है।
6. तारों की रोशनी को धरती तक पहुंचने में कई साल लग जाते है. इसका मतलब, जब आप आसमान में सितारों को देखते है तो आप भूतकाल में देख रहे होते है. जो सूर्य हमें दिखता है वह 8.3 मिनट पुराना और अल्फा सेंचुरी 4 साल पुराना होता है।
7. हमारी आकाशगंगा में हर 18 दिन में एक नया सितारा बनता है।
8. सभी तारे अपने जीवन की शुरूआत एक धूल के बादल के रूप में करते है जिसे ‘Nebulae‘ कहा जाता है. ये 74% hydrogen और 25% helium से मिलकर बने होते है. इनके कोर में hydrogen की मदद से न्यूक्लियर रिएक्शन होती रहती है जिससे इतनी एनर्जी मिल जाती है कि ये सालों तक चमकते रहते है।
9. सबसे बड़ा तारा: ‘VY Canis Majoris‘ इतना बड़ा है कि शनि ग्रह को निगल सकता है. यह 1800 सूर्य के बराबर है. एक हवाई जहाज़ को इसके चारों ओर चक्कर लगाने में 1100 साल लग जाएगे. यह इतना बड़ा है कि यदि सूर्य का आकार टेबल टेनिस की गेंद जितना कर दिया जाए तो यह फिर भी 16 मंजिला इमारत जितना ऊंचा होगा।
10. सबसे दूर का तारा: अंधेरी रात में दिखाई देने वाला सबसे दूर का तारा है ‘Deneb’. यह 19 पदम मील (19,000,000,000,000,000 miles) दूर से भी दिखाई दे जाता है।
11. तारों का रंग उनके तापमान और द्रव्यमान पर निर्भर करता है. ये लाल, सफेद और नीले रंग के हो सकते है. लाल तारें सबसे ठंडे होते है इनका तापमान 3500 केल्विन (3226°C) से कम ही रहता है. सूर्य की तरह पीले-सफेद तारों का तापमान 6000 केल्विन (5726°C) के आसपास रहता है. सबसे गर्म नीले रंग के तारें होते है जिनका तापमान 12,000 केल्विन (11726°C) के आसपास रहता है।
12. सबसे पुराना तारा: तारों की औसतन उम्र 1 से 10 अरब साल तक होती है. लेकिन अभी तक ज्ञात सबसे पुराना तारा 14.46 अरब साल ± 0.8 साल यानि ब्रह्मांड से भी पुराना है. यह धरती से 190 light years की दूरी पर स्थित है।
13. आकाश में नंगी आंखो से सिर्फ 9096 तारें ही देखे जा सकते है इससे ज्यादा देखने के लिए आपको दूरबीन का प्रयोग करना पड़ेगा।
14. सबसे चमकीला तारा: ‘Sirius‘ तारा आसमान का सबसे चमकीला तारा है. ये इतना चमकता है कि कई बार लोग इसे UFO समझ लेते है. यह सूर्य से भी 20 गुना ज्यादा चमकदार है।
15. लोग सदियों से उत्तरी ध्रुव तारें को दिशा जानने के लिए प्रयोग करते आ रहे है. क्योंकि अन्य सितारें चलते रहते है, लेकिन यह आसमान में एक जगह फिक्स है।
16. आकाश में पुच्छल तारे भी होते है. इनकी पूंछ अमोनिया, मिथेन, भाप और बर्फ के कणों से बनी होती है जो लाखों मील लंबी हो सकती है. ये भी अपने अक्ष पर सूर्य के चक्कर काटते है।
17. जितना बड़ा तारा उतनी ही कम उसकी आयु.. उदाहरण के लिए, ‘Eta Carinae’ तारे को हो ले लिजिए यह सूर्य से 150 गुना बड़ा और 40 लाख गुना ज्यादा ऊर्जा उत्सर्जित करता है यह बस कुछ लाख साल का ही मेहमान है बल्कि सूरज अभी करोड़ो साल तक जिएगा. यह तारा कभी भी सुपरनोवा में बदल सकता है. जब भी ऐसा होगा यह सूर्य और चंद्रमा के बाद आकाश में सबसे चमकीली चीज होगी और दिन में भी दिखाई देगा।
18. आपने “Twinkle Twinkle Little Star” poem तो सुनी ही होगी.. लेकिन ये सच नही है. तारें कभी टिमटिमाते नही है. बस हमें ऐसा लगता है. जब तारे क्षितिज़ के पास होते है तो इन्हें कम और ज्यादा घनत्व वाली परतों से गुज़रना पड़ता है इसलिए इनका प्रकाश कभी कम होता है कभी ज्यादा.. और हमें ये टिमटिमातें हुए प्रतीत होते है।
19. जब सितारें सुपरनोवा में फटने के कारण खत्म हो जाते है तो गुरूत्वाकर्षण बल के कारण एक नया तारा ‘Neutron‘ पैदा होता है. ये इतना interesting है कि मैनें इसके बारे में अलग से पोस्ट डालने का विचार बनाया है बस इतना जान लिजिए कि इसकी एक चम्मच सामग्री का वजन धरती के सभी इंसानों के वजन के बराबर है. बस बाकी तो इसकी पोस्ट में ही पढ़ना…
20. तारें क्यों टूटते है और ये गिरते कहाँ है ?
वास्तव में तारा टूटता नही है ये बस हमारा वहम है. जो हमें गिरते हुए दिखाई देते है वो असल में वो उल्का पिंड होते है. तो फिर ये कहाँ गिरते है ? अंतरिक्ष से पृथ्वी के वातावरण में प्रवेश करते ही ये जल उठते है और राख बन जाते है और ये ज्यादातर समुंद्रों में ही गिरते है।
वास्तव में तारा टूटता नही है ये बस हमारा वहम है. जो हमें गिरते हुए दिखाई देते है वो असल में वो उल्का पिंड होते है. तो फिर ये कहाँ गिरते है ? अंतरिक्ष से पृथ्वी के वातावरण में प्रवेश करते ही ये जल उठते है और राख बन जाते है और ये ज्यादातर समुंद्रों में ही गिरते है।
21. यदि तारें गायब हो जाए तो… ? सिवाय सूरज के अगर सभी तारें गायब हो जाए तो हमें इस बात का 4 साल बाद पता चलेगा. हमारी मिल्की वे गैलेक्सी में तारों की ऊर्जा 10^67 Joule (1 के पीछे 67 zero) है वो खत्म हो जाएगी. तारों का वज़न बहुत ज्यादा है तो सारे तारों के गायब होने से मिल्की वे गैलेक्सी का वजन 5% तक कम हो जाएगा. और यदि ये तारें सुपरनोवा प्रकिया के द्वारा खत्म होते है तो हमें बहुत अधिक मात्रा में फ्लैश दिखेगा. बाकी कुछ बड़ा घटित नही होगा.. लेकिन अगर सूर्य गायब हो गया तो फिर दिक्कतें ज्यादा बढ़ जाएगी