After all, why does a person want to have sex with animals | आख़िर कोई इंसान पशु से सेक्स क्यों करना चाहता है

human why not do sex with animals
हरियाणा के मेवात इलाक़े में एक गर्भवती बकरी से सेक्स और उसके बाद बकरी की मौत की ख़बर अंतरराष्ट्रीय सुर्खिंयों में है.
मामला 25 जुलाई का है, लेकिन सुर्खियां चार दिनों बाद बनीं. मेवात पुलिस प्रवक्ता जितेंद्र कुमार के मुताबिक़ इस मामले में एफ़आईआर दर्ज कर ली गई है. पुलिस ने आईपीसी की धारा 377 और एनिमल क्रूएलिटी एक्ट के तहत केस दर्ज किया है.
मामला जब पुलिस के पास पहुंचा तो बकरी का पोस्टमॉर्टम कराया गया. हालांकि पोस्टमॉर्टम में दुष्कर्म की पुष्टि नहीं हुई है.
पोस्टमॉर्टम में मौत की वजह अंदरूनी चोट बताया गया है. मामले में अभी तक किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है. पुलिस पीआरओ जितेंद्र ने बताया कि अभी मामले की जांच चल रही है.




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लेकिन जानवर के साथ सेक्स...!

जानवरों के साथ सेक्स को अंग्रेज़ी में बेस्टिएलिटी कहते हैं. इसका एक और मतलब भी है अति क्रूर व्यवहार.

ऑक्सफर्ड डिक्शनरी के मुताबिक़, किसी इंसान और जानवर के बीच इंटरकोर्स को बेस्टिएलिटी कहते हैं.
नेशनल सेंटर फॉर बायटेक्नॉलजी इन्फॉरमेशन यानी एनसीबीआई की वेबसाइट के मुताबिक़, किसी इंसान का जानवर के साथ सेक्स करना काफ़ी गंभीर मामला है, लेकिन जानवरों के ख़िलाफ़ हिंसा के जो मामले दर्ज होते हैं, उनमें इस तरह के मामलों का प्रतिशत बहुत कम होता है. भारत में यह एक दंडनीय अपराध है.


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एनसीबीआई, रिसर्च जरनल में प्रकाशित एक शोध के मुताबिक बेस्टिएलिटी एक तरह की यौन हिंसा है, जिसमें किसी जानवर का इस्तेमाल यौन संतुष्टि के लिए किया जाता है.
इसका मक़सद सिर्फ़ शारीरिक संतुष्टि है, कोई भावनात्मक लगाव नहीं. एनसीबीआई के मुताबिक कुछ समुदायों में बेस्टिएलिटी को यौन संक्रमित बीमारियों के इलाज के तौर पर देखा जाता है.
दिल्ली स्थित सेक्सोलॉजिस्ट विनोद रैना के मुताबिक़ ऐसे लोग 'सैडिस्ट' प्रवृत्ति के होते हैं. ये पूरी तरह से एक दिमाग़ी मामला है.
बतौर डॉ. रैना बेस्टिएलिटी की दो मुख्य वजहें हो सकती हैं. एक तो यौन कुंठा और दूसरा सेक्शुअल फ़ैंटिसी के लिए.
एक रिपोर्ट के अनुसार, कई बार बच्चे भी इस तरह की हरकतें करते हैं, लेकिन अगर किसी बच्चे के संदर्भ में ऐसा कोई मामला सामने आए तो इसे हल्के में नहीं लेना चाहिए.
आगे जाकर ये ख़तरनाक हो सकता है. रिपोर्ट में इस बात पर भी ज़ोर दिया गया है कि अक्सर इस तरह के मामलों को नज़रअंदाज़ कर दिया जाता है, लेकिन ऐसा करना ख़तरनाक हो सकता है.
बतौर डॉ. रैना, "बेस्टिएलिटी के लिए कई बार माहौल भी ज़िम्मेदार होता है. कई बार परिवारों मे सेक्स को लेकर इस तरह का माहौल होता है कि लोग इस पर खुलकर बात भी नहीं कर पाते. ऐसे में कई बार सेक्स को एक्सप्लोर करने के लिए भी लोग जानवरों का इस्तेमाल करते हैं."

लेकिन क्या ये कोई पहला मामला है?

भले ही हरियाणा की इस घटना ने सभी को चौंका दिया है, लेकिन ये कोई पहला मामला नहीं है. अमरीका के उत्तरी-पूर्वी फ्लोरिडा में पशुओं पर होने वाले यौन हमले में बकरियों को सबसे ज़्यादा टारगेट किया जाता है.


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एनसीबी की रिपोर्ट में भी एक ऐसे ही मामले का ज़िक्र किया गया है जिसमें एक 18 साल के युवक ने अपनी गौशाला में पले दो बछड़ों के साथ दुष्कर्म किया. दोनों बछड़ों में से एक की बाद में मौत हो गई. बाद में जब बछड़े की फॉरेंसिक जांच हुई तो ह्यूमन सीमन मिला.
हालांकि जब उस युवक को गिरफ़्तार किया गया तो उसे किसी भी तरह का पछतावा नहीं था.
भारत में ऐसे मामले, आईपीसी की धारा 377 के तहत दर्ज होते हैं. भारत के अलावा कई यूरोपीय देशों जैसे नीदरलैंड, फ्रांस और स्विट्ज़रलैंड, डेनमार्क में ये प्रतिबंधित है.
इसके अलावा जर्मनी में भी इस पर रोक है. ब्रिटेन में साल 2003 में इससे जुड़ी सज़ा में बदलाव किया गया और आजीवन कारावास की अधिकतम सज़ा को घटाकर दो साल कर दिया गया.
हालांकि हंगरी, फिनलैंड में ये अब भी अपराध नहीं है. साल 2011 में आई डेनमार्क सरकार की एक रिपोर्ट के मुताबिक 17 फ़ीसदी जानवरों के डॉक्टर मानते हैं कि उन्होंने जितने जानवरों का अब तक इलाज किया, उनमें से कम से कम एक साथ किसी इंसान ने दुष्कर्म किया.

क्या यह कोई मनोविकार है?

एनसीबी की रिपोर्ट की मानें तो इस तरह की समस्या उन लोगों को ख़ासतौर पर होती है जो एक असंतुलित जीवन गुज़ारते हैं.
जिनका बचपन घरेलू हिंसा और तनाव के बीच गुज़रा हो. इसके अलावा जो बचपन में यौन हिंसा का शिकार होते हैं, उनमें भी इस तरह के व्यवहार की आशंका बढ़ जाती है.
साइकोलॉजिस्ट डॉ. प्रवीण बताते हैं कि अबनॉर्मल सेक्शुअल एक्टिविटीज़ को पैरीफ़िलिया कहते हैं.


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"पैरीफिलिया के कई प्रकार होते हैं. बेस्टिएलिटी इनमें से एक है. बेस्टिएलिटी असामान्य व्यवहार और बीमारी के बीच की चीज़ है. पर इकलौता असामान्य व्यवहार नहीं है. नैक्रोफ़ीलिया इसका दूसरा प्रकार है, जिसमें व्यक्ति किसी मृत के साथ शारीरिक संबंध बनाता है."
क्या हो सकती हैं प्रमुख वजहें?
  • बचपन में बुरा अनुभव
  • अकेलापन
  • मानसिक विकार

क्या है इलाज?

डॉ. प्रवीण के मुताबिक़ इसके लिए अवर्सिव थेरेपी दी जाती थी, लेकिन आज के समय में ये बहुत चलन में नहीं है.
इस थेरेपी में शख़्स को ये महसूस कराया जाता था कि वो किसी जानवर के साथ है, लेकिन इस दौरान उसे करंट दिया जाता था ताकि बाद में अगर वो इस तरह कुछ करे तो उसे वो दर्द याद आए और वो ख़ुद ही उससे दूर हो जाए.
हालांकि अब ये तरीक़ा चलन में नहीं है."ऐसे लोगों के लिए और भी कई तरह के इलाज हैं, लेकिन सच्चाई यही है कि कोई भी उपाय बहुत कारगर नहीं है."
डॉ. प्रवीण मानते हैं कि इस तरह के मामले बहुत ही कम देखने को आते हैं, लेकिन इसे सिर्फ़ बीमारी नहीं माना जा सकता है.
वो मानते हैं कि ऐसे मामलों में सख़्ती बरतने और ऐसे शख़्स का सही इलाज दोनों साथ-साथ करने से ही फ़ायदा हो सकता है.


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पशुओं के साथ सेक्स करने वाले कैसे-कैसे लोग

  • ह्यूमन-ऐनिमल रोल-प्लेयर्स- जिन्होंने जानवरों के साथ कभी सेक्स नहीं किया है, लेकिन सेक्स की इच्छा भड़कने पर ये जानवरों की तरफ़ रुख़ करते हैं.
  • रोमैंटिक पशु प्रेमी- ऐसे लोग जानवरों को पालतू बनाकर रखते हैं और ये साइकोसेक्शुअली की ओर आकर्षित होने लगते हैं. हालांकि ये सेक्स नहीं करते हैं.
  • असामान्य कल्पनाशील लोग- ये ऐसे लोग हैं जो पशुओ के साथ सेक्शुअल इंटरकोर्स के बारे में सोचते हैं, लेकिन ऐसा कभी करते नहीं.
  • पशुओं से हवस- ऐसे लोग पशुओं को स्पर्श करते हैं. ये पशुओं को गले लगाते हैं और उस तरीक़े से छूते हैं. ये पशुओं के गुप्तांगों को भी छूते हैं, लेकिन सेक्स नहीं करते.
  • अतिउत्साही- ये पशुओं के हर हिस्से को देखते हैं. कई बार ये कामुक नज़रिए से नापते हैं. यहां तक कि पशुओं के बीच होने वाली यौन गतिविधियों के दौरान ये कुछ ज़्यादा ही सक्रिय हो जाते हैं.
  • क्रूर कामुकता- ये पशुओं के साथ रेप करते हैं. इस दौरान उन्हें ये प्रताड़ित भी करते हैं.
  • मौक़ापरस्त- ये सेक्शुअल रिलेशन के मामले में नॉर्मल होते हैं, लेकिन मौक़ा मिलने पर पशुओं के साथ भी शुरू हो जाते हैं.
  • नियमित पशु प्रेमी - ऐसे लोग पशुओं के साथ सेक्स करना ज्यादा पसंद करते हैं. इन्हें मानवीय सेक्स से ज़्यादा ये रास आता है.
  • हिसंक- ये सेक्स के दौरान पशुओं को मार भी देते हैं. यहां तक कि ये पशुओं के मर जाने के बाद भी उनसे सेक्स करते हैं.
  • एक्सक्लूसिव पशु प्रेमी- ऐसे लोग केवल पशुओं के साथ ही सेक्स करते हैं.

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